Grah


शिव.....शिव.... शिव .....

 

ब्रह्मा कृतयुगे देवः , त्रेतायां भगवान रविः  |
द्वापरे भगवान विष्णु:, कलौ देवो महेश्वरः  ||

सतयुग के भगवान ब्रह्मदेव हैं, त्रेता के सूर्यदेव, द्वापर के विष्णु और कलियुग के भगवान केवल महेश्वर शिव ही है | वैसे महादेव तो आदिदेव हैं और आदिदेव होने के कारण तो महादेव चारों युगों के प्रधान देवता है, महादेव तो महादेव है अर्थात देवों में सबसे बड़ा | भगवान शिव तो अनादि व् अनन्त हैं, इनके आदि और अंत का पता लगाने हेतु ब्रह्मा और विष्णु ने सहस्त्रों वर्ष तक प्रयत्न किया, परन्तु असफल रहे | अपने भक्तों की आराधना और उपासना द्वारा शीघ्रअतिशीघ्र प्रसन्न होने वाले यदि कोई देव हैं तो वो है देवों के देव महादेव |  भगवान शिव की उपासना से भगवान विष्णु को सुदर्शन चक्र प्राप्त हुआ | भगवान राम ने इनका पूजन तथा रुद्राभिषेक कर लंका के राजा रावण पर विजय प्राप्त की | भगवान श्रीकृष्ण ने महा-ऋषि उपमन्यु की दीक्षा लेकर शिवाराधन द्वारा शिव सहस्त्रनाम से अपनी स्त्री जाम्बवती की अभिलाशानुसार पुत्र साम्ब को प्राप्त किया | मानव ही नहीं देवों, गन्धर्वों, राक्षसों या जिस किसी ने भी महादेव की उपासना की महादेव ने उसकी मनोकामना जरुर पूरी की है |

सावन में भगवान शिव की उपासना शीघ्र फल देती है और मित्रों सावन ४ जुलाई से प्रारंभ हो रहा है, और भगवान शिव की कृपा से मैं अमित बहोरे आप लोगों को सावन भर महादेव की महिमा बताता रहूँगा और साथ में ये भी बताऊंगा की क्या पूजन करें, कैसे करें......

  • भगवान शिव को क्या पसंद हैं ?
  • सावन में शिव जल्दी क्यों प्रसन्न होते है ?
  • भस्म लगाने का क्या महत्त्व है ?
  • शिव की उपासना में सोमवार का महत्त्व ?
  • क्या चढाने से शिव होते है प्रसन्न ?
  • कौन सा मंत्र है भोले नाथ को सबसे प्रिय ?
  • पूजन सामग्री
  • रुद्राभिषेक का महत्व ?

 

 


मेरे आराध्य भोले नाथ मुझ पर और आप सब पर अपनी कृपा बनाये रखें .....

जय भोले

Comments (0)

Leave Reply

Testimonial



Flickr Photos

Send us a message


Sindhu - Copyright © 2024 Amit Behorey. All Rights Reserved. Website Designed & Developed By : Digiature Technology Pvt. Ltd.