Leo Health 2015
- 02 December 2014
श्रावण मास हिन्दू पंचांग का पांचवां मास होता है, श्रावण मास अंग्रेजी कैलेंडर के जुलाई या अगस्त में प्रारंभ होता है | इसका प्रारंभ गुरु-पूर्णिमा के अगले दिन से होता है |
मंगला-गौरी व्रत, नाग-पंचमी, रक्षा-बंधन
श्रावण मास में जन्म लिए हुए जातक आधिक भावुक, संवेदनशील तथा विलक्षण प्रतिभा के धनि होते हैं |
कोई दार्शनिक, तो कोई कवि तो कोई साहित्यकार भी बनते हैं |
यह लोग सजावट प्रिय, परिश्रमी, श्रेष्ठ व्यवसायी तथा कला मर्मज्ञ भी होते हैं |
कार्यकुशलता तथा साहस इनका विशेष गुण होता है, ये उतरदायित्व का निर्वाह करने में कुशल होते हैं |
अपने सहयोगियों के बल पर इनकी उन्नति होती है, इनकी आर्थिक स्थिति मध्यम होती है |
शारीरिक स्वास्थ्य प्रायः सही नहीं रहता है |
भाग्योदय 24-37 वर्ष की आयु में होता है | ये लोग कठिन परिश्रम द्वारा अपने भाग्य का निर्माण करते हैं |
इस मास में जन्मे लोग अपनी भावुकता के कारण कुटनी अर्थवा दुराचारिणी स्त्रियों के पंजे में फंस कर आश्रयहीन हो जाते हैं |
इनके मित्र की संख्या कम और शत्रुओं की संख्या अधिक होती है | संतान का सुख अच्छा रहता है |